Tuesday, January 29, 2008

वन्देमातरम्

भारती के भाल का सम्मान वन्देमातरम्
देश हित की भावना का मान वन्देमातरम्

जब कभी भी इस धरा पर कोई संकट आ पड़े
मंत्र सम है गूँजता वरदान वन्देमातरम्

भिन्न भाषा, भिन्न भूषा, भिन्न इसकि बोलियाँ
भिन्नता में एकता पहचान वन्देमातरम्

इस गगन में अब लहरता राष्ट्र का झण्डा अमर
इस तिरंगे की अमिट है शान वन्देमातरम्

अब करोड़ों हाथ अपने राष्ट्र को महकाएँगे
है हमारे भाग्य का भगवान वन्देमातरम्

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