
तिब्बत की स्वतन्त्रता से प्यार करो
दुष्ट चीनियों पर मिलकर प्रहार करो
बुद्धं शरणं छोड़ के कुछ दिन को लामा
युद्धम् शरणम् गच्छामी स्वीकार करो
कवि राजेश चेतन की हास्य व्यंग और विचार कविता की चौपाल में आपका स्वागत है। देखने के लिए यहाँ क्लिक करें https://twitter.com/rajeshchetan http://kavitakosh.org/kk/राजेश_चेतन
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